Tourism: आगरा में मशहूर है ये 5 मंदिर,भक्तों का लगा रहता है तांता

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Tourism: These 5 temples are famous in Agra, devotees keep coming in large numbers
Tourism: These 5 temples are famous in Agra, devotees keep coming in large numbers

पटना। भारत के हर राज्य में कुछ ऐसे मंदिर होते है जहां हमेशा भक्तों का तांता लगा रहता है। जहां के मंदिरों में किसी भी मौसम में जाएं तो वहां हमेशा भक्तों की भीड़ रहती हैं। यदि हम बात करें आगरा की तो वहां भी कुछ ऐसे मंदिर है जो काफी फेमस है। यदि आप कभी आगरा जाएं तो इन मंदिरों में एक बार जाकर दर्शन जरूर करें। आगरा में एक ऐसा मंदिर भी है जहां की शिवलिंग कैलाश से लाई गई थी। आइए जानते है कौन से है ये 5 मंदिर

खाटू श्याम जी का मंदिर

ये मंदिर पूरे यूपी में सबसे बड़ा खाटू श्याम जी का मंदिर है। ये मंदिर पूरी तरह से राजस्थान के पूराने खाटू श्याम वाले मंदिर से प्रेरित है। आगरा के जियोनी मंडी में बना यह मंदिर 3 मंजिला है। यह मंदिर सुबह 5.30 से रात 9 बजे तक ही खुला रहता है। ऐसा माना जाता है कि भगवान खाटू श्याम की पूजा-अर्चना करना भगवान श्री कृष्ण की पूजा-अर्चना करना के समान है।

श्री मनकामेश्वर मंदिर

श्री मनकामेश्वर मंदिर आगरा के सभी पूराने मंदिरों में से एक है। रिपोर्ट्स के मुताबिक ये मंदिर ताज महल से भी पुराना है। इसका निर्माण ताज महल से भी पहले हो गया था। कई बड़े त्योहारों पर यहां भक्तों की बहुत भीड़ लग जाती हैं। यह मंदिर रावतपारा में स्थित है। यह सुबह साढ़े पांच से रात साढ़े आठ बजे तक ही खुला रहता है।

दयालबाग मंदिर

ये मंदिर राधा स्वामी आस्था का प्रतीक है। यह मंदिर सुंदर वास्तुकला और अपने शांतिपूर्ण वातावरण के लिए जाना जाता है। इस मंदिर का निर्माण 1904 में शुरू हो गया था। जिसे 1980 में आम जनता के लिए खोल दिया गया। दुनिया के सात अजूबों में से एक ताजमहल की मौजूदगी आगरा के एक प्रमुख पर्यटन केंद्र के रूप में महत्व को और पुख्ता करती है। ऐसी ही एक महत्वपूर्ण जगह है दयाल बाग। उत्तर प्रदेश के महानगर आगरा में स्थित दयाल बाग, राधा स्वामी संप्रदाय का मुख्यालय है, जिसकी स्थापना 1861 में शिव दयाल सिंह ने की थी।

बल्केश्वर महादेव मंदिर

बल्केश्वर महादेव मंदिर महादेव शिव को समर्पित किया गया है। यह 700 साल से भी ज्यादा पूराना मंदिर है। कहा जाता है कि इस क्षेत्र में नदी के पास एक गाय घूम रही थी। तभी अचानक से वह तेज से रंभाने लगी। जिसके बाद वहां के स्थानीय लोगों वहां इकट्ठा हुआ। जब तलाश करी गई तो पाया गया कि वह गाय वहां पर मिले एक शिवलिंग की ओर इशारा कर रही थी। जिसके बाद वहां एक शिव मंदिर का निर्माण किया गया जिसका नाम बल्केश्वर मंदिर रखा गया।

कैलाश मंदिर

आगरा में कैलाश मंदिर को आगरा के एक स्थानीय राजा सूरजमल द्वारा बनवाया गया था। कहा जाता है कि राजा सूरजमल को एक दिन एक सपना आया था जिसमें उन्हें महादेव शिव के दर्शन हुए थे। इसे एक अच्छा शगुन मानकर सूरजमल की सैनिकों की टीम को कैलाश पर्वत पर भेजा गया। वहां से वह लोग एक शिवलिंग लेकर आएं। आगरा में महादेव के मंदिर का निर्माण करा कर उस शिवलिंग को स्थापित किया गया।