पटना: हिंदू धर्म में प्रदोष व्रत को बहुत महत्वपूर्ण माना जाता है। यह भगवान शिव और माता पार्वती को समर्पित है। प्रदोष व्रत भगवान शिव के साथ-साथ माता पार्वती की विशेष कृपा पाने के लिए किया जाता है। मान्यताओं के अनुसार प्रदोष व्रत करना बहुत शुभ और लाभकारी होता है।
शिव परिवार का मिलता है आशीर्वाद
इस व्रत को करने से शिव परिवार का आशीर्वाद मिलता है। मान्यता है कि प्रदोष व्रत विधि-विधान से करने से भक्तों की सभी मनोकामनाएं पूरी होती हैं। जो लोग संतान सुख से वंचित हैं उन्हें संतान की प्राप्ति होती है। प्रत्येक माह में दो प्रदोष व्रत आते हैं। पहला प्रदोष व्रत शुक्ल पक्ष की त्रयोदशी तिथि को और दूसरा कृष्ण पक्ष की त्रयोदशी तिथि को रखा जाता है।
मंगलवार को पड़ने के कारण कहा जाएगा भौम प्रदोष व्रत
इस बार प्रदोष व्रत 15 अक्टूबर, मंगलवार को पड़ रहा है। मंगलवार को पड़ने वाले प्रदोष व्रत को भौम प्रदोष व्रत कहा जाता है। मंगलवार होने के कारण भौम प्रदोष व्रत के दिन शिव परिवार सहित हनुमान जी की पूजा करने की परंपरा है। मान्यता है कि भौम प्रदोष व्रत को विधि-विधान से करने से भक्तों के सभी प्रकार के कष्ट दूर हो जाते हैं और कुंडली में मौजूद मांगलिक दोष से भी राहत मिलती है।
पूजा का शुभ समय
भौम प्रदोष व्रत के दिन पूजा का शुभ समय 15 अक्टूबर 2024 को शाम 5:51 बजे से रात 8:21 बजे तक रहेगा. इस दौरान पूजा करने से शुभ फल की प्राप्ति होगी.