पटना। साल 2016 में हुए बीजेपी नेता विशेश्वर ओझा हत्याकांड (Visheshwar Ojha Murder Case) में भोजपुर कोर्ट ने फैसला सुनाया है। इस मामले में माननीय अदालत ने दो सगे भाइयों बृजेश मिश्रा और हरेश मिश्रा को बा-मशक्कत उम्र कैद की सजा सुनाई है। साथ ही दोनों दोषियों पर 85-85 हजार का जुर्माना भी लगाया गया है। इसके अलावा कोर्ट ने इस मामले में अन्य पांच दोषियों को 10 साल जेल और 35-35 हजार रुपये का अर्थिक दंड लगाया है। वहीं सबूत का अभाव होने के कारण छह आरोपियों को कोर्ट ने बरी कर दिया।
सात लोग दोषी करार
इस मामले में आरा कोर्ट के अपर लोक अभियोजक मानिक कुमार सिंह ने बताया कि एडीजे 8 की अदालत ने इस मामले में फैसला सुनाया है। हत्याकांड के इस केस में कुल 13 लोगों को अभियुक्त बनाया गया था जिनमें से सात लोगों को दोषी करार दिया गया है। इनमें हरेश मिश्रा, बृजेश मिश्रा, उमाकांत मिश्रा, टुन्नी मिश्रा, बसंत मिश्रा, हरेंद्र सिंह और पप्पू सिंह को दोषी पाया गया। जिसमें से ब्रजेश और हरेश को उम्र कैद की सजा हुई है। वहीं अन्य पांच को 10 साल की सजा दी गई है।
गाड़ी रुकवाकर गोलियों से भून दिया
दरअसल, कोर्ट के एपीपी ने बताया कि विशेश्वर ओझा (Visheshwar Ojha Murder Case) बीजेपी के बिहार प्रदेश उपाध्यक्ष थे। उनकी 12 फरवरी 2016 को गोली मारकर हत्या कर दी गई थी। विशेश्वर ओझा आरा के ओझवलिया गांव के रहने वाले थे और काफी कद्दावर नेता थे। वो 12 फरवरी 2016 को एक शादी समारोह में शामिल होने सोनबरसा गांव गए थे, जहां रास्ते में अपराधियों ने उन्हें गोलियों से भून डाला। उनकी गाड़ी को रुकवा कर गोली चलाई गई। इस मामले में शाहपुर थाने में घटना की प्राथमिक की दर्ज हुई थी।