पटना। बिहार शिक्षा विभाग के एसीएस केके पाठक (KK Pathak) अपनी सख्त कार्यशैली और तत्काल एक्शन लेने अंदाज के लिए जाने जाते हैं। लेकिन इस बार के उनके फरमान ने बच्चों के साथ-साथ परिजनों के लिए भी मुसीबत खड़ी कर दी है। दरअसल, केके पाठक के नए आदेश के अनुसार, अब जिस पंचायत क्षेत्र के […]
पटना। बिहार शिक्षा विभाग के एसीएस केके पाठक (KK Pathak) अपनी सख्त कार्यशैली और तत्काल एक्शन लेने अंदाज के लिए जाने जाते हैं। लेकिन इस बार के उनके फरमान ने बच्चों के साथ-साथ परिजनों के लिए भी मुसीबत खड़ी कर दी है। दरअसल, केके पाठक के नए आदेश के अनुसार, अब जिस पंचायत क्षेत्र के बच्चे हैं, उन्हें उसी पंचायत में अपना नामांकन कराना होगा।
अब केके पाठक (KK Pathak) के इस आदेश से बच्चों के अभिभावकों को मुश्किल ये आ रही है कि उनकी पंचायत के हाईस्कूल अधिक दूरी पर हैं, लगभग 5 किमी तक। वहीं जो स्कूल घर के आस-पास हैं, वो दूसरी पंचायत में आते हैं। जिसके चलते पास वाले स्कूल में एडमिशन कराना अभिभावकों की मजबूरी है।
लेकिन शिक्षा विभाग के नए आदेश के मुताबिक अगर बच्चे दूसरे पंचायत के हाई स्कूल में नामांकन करवाते हैं तो उन्हें पहले अपने पंचायत के स्कूल से ट्रांसफर सर्टिफिकेट लेना होगा, फिर डीईओ से इसे प्रमाणित कराना होगा। इसके बाद ही दूसरे पंचायत के हाई स्कूल में एडमिशन लेना मुमकिन होगा। जिसके बाद अब अभिभावक ट्रांसफर सर्टिफिकेट बनवाने के लिए पंचायतों के चक्कर काट रहे हैं।
यही नहीं केके पाठक के इस नए आदेश में एक और प्रावधान भी है। शिक्षा विभाग की तरफ से ये आदेश दिया गया है कि स्कूल के प्रधान शिक्षक को बैठक करनी होगी। जिसमें बच्चों के पैरेंट्स टोला सेवक, तालिमी मरकज, आंगनवाड़ी सेविका और स्कूल की सहायिका भी मौजूद रहेंगी। इन सब की जिम्मेदारी अनामांकित बच्चों की खोज कर के उनका नामांकन कराने की होगी। छह वर्ष के बच्चों का नामांकन कक्षा एक में करने के लिए कहा गया है। शिक्षा विभाग का कहना है कि कक्षा एक से चार और छह से सात के बच्चों का नामांकन उत्तीर्ण होने के बाद खुद हो जाता है, तो कक्षा पांच और आठ के बच्चों का नामांकन लिया जाता है।
इसके अलावा केके पाठक के आदेश में डीईओ के लिए भी कार्य सौंपे गए हैं। शिक्षा विभाग ने कहा कि प्राथमिक स्कूल से कक्षा पांच उत्तीर्ण करने वाले बच्चों का एडमिशन बगल के मध्य विद्यालय में कक्षा छह में होगा। इस नामांकन को कराने की जिम्मेदारी संबंधित प्राथमिक विद्यालय के प्रधान की रहेगी। इसी तरह मिडिल स्कूल से कक्षा आठ को उत्तीर्ण करने वाले बच्चों का नजदीक के हाई स्कूल में कक्षा नौ में एडमिशन कराने की जिम्मेदारी संबंधित मिडिल स्कूल के प्रधान की रहेगी। जिसके लिए पहले ही माध्यमिक शिक्षा के निदेशक द्वारा सभी डीईओ को दिशा-निर्देश दिया गया है।
बता दें कि बिहार के सरकारी स्कूलों में वार्षिक परीक्षाएं हो चुका है। साथ ही रिजल्ट भी वितरित किया जा चुका है। जिसके बाद शिक्षा विभाग ने एडमिशन की तारीख भी तय कर दी है। ये एडमिशन प्रक्रिया 1 अप्रैल से 30 जून तक चलेगी। इस अभियान का नाम ‘प्रवेशोत्सव विशेष नामांकन अभियान’ है।